बाडमेर। पिछले काफी समय से भ्रष्टाचार और अन्य विवादों में घिरी नगरपरिषद के कार्यालय में बुधवार को कम्प्यूटर कक्ष में रहस्यमयी परिस्थितियों म...
बाडमेर। पिछले काफी समय से भ्रष्टाचार और अन्य विवादों में घिरी नगरपरिषद के कार्यालय में बुधवार को कम्प्यूटर कक्ष में रहस्यमयी परिस्थितियों में लगी आग से कम्प्यूटर पूरी तरह से जल गया। आग लगने के बाद उपखंड अधिकारी और शहर कोतवाल मौके पर पहुंचे। आग लगने के कारणों का अभी तक पूरी तरह से पता नहीं चल पाया है। घटना के बाद मौके पर पहुंची विद्युत निगम की टीम ने यह साफ कर दिया कि आग शार्ट सर्किट से नहीं लगी है। अब तक हुई जांच में सामने आया है कि सुबह 7.48 बजे सीसीटीवी कैमरे बंद हो गए थे और उसके बाद आग की घटना हुई। ऐसे हालात अब पूरे मामले में यह किसी षडयंत्र का हिस्सा माना जा रहा है और शक की सूई परिषद के कार्मिकों के इर्दगिर्द ही आकर अटक गई है।
आग की घटना को लेकर दिनभर सभापति, अधिकारियों और कर्मचारियों में नोकझोंक होती रही। सभापति के सामने ही एक्सईएन और एक संविदाकर्मी प्रेम आचार्य के बीच अच्छी खासी बहस हो गई थी और मामला मारपीट की नौबत तक पहुंच गया था। मामले की गंभीरता को देखते हुए कोतवाली पुलिस और सभापति सीसीटीवी कैमरे के फुटेज खंगाल रहे हैंं।1
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ये है शक की वजह
परिषद में पूर्व में भी आवश्यक रिकॉर्ड से संबंधित एक—दो फाइलें गायब हो चुकी हैं। इसको लेकर आयुक्त ने परिषद के कर्मचारियों के खिलाफ ही कोतवाली में मामला भी दर्ज कराया था। एक दिन पहले ही पुलिस ने इस मामले की जांच शुरू की थी कि अब कम्प्यूटर को जला दिया गया। इस कम्प्यूटर में काफी रिकॉर्ड था। ऐसे में अब शक यह जताया जा रहा है कि संभवतया रिकॉर्ड को खुर्दबुर्द करने की नीयत से ही कम्प्यूटर को आग लगाई गई है।
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आयुक्त का अवकाश रदृ
इस बीच आयुक्त की ओर से लिए गए अवकाश को रद्द कर दिया गया है। सभापति ने बताया कि आग किसी साजिश के तहत लगाई गई है। चूंकि मामले की जांच की जा रही है ऐसे हालत में आयुक्त की उपस्थिति जरूरी है। लिहाजा आयुक्त जोधाराम का अवकाश पत्र रद्द कर उन्हें ड्यूटी पर पहुंचने के निर्देश दिए गए हैं।
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